पिछले बयानों के आधार पर हो रहा फ़िल्म का बॉयकॉट
मुम्बई : भारतीय सिनेमा की पहचान बॉलीवुड में अब एक अगल ही ट्रेंड देखने को मिल रहा है । हिंदी सिनेमा की एक के बाद एक फिल्म बॉयकॉट के भेंट चढ़ रही हैं । आमिर खान की लाल सिंह चड्डा के बाद तापसी पन्नू की दोबारा भी इसका शिकार हुई । अब बॉयकॉट करने वाले सनातन प्रेमियों की नजर किंग खान के पठान और करन जौहर की फ़िल्म लाइगर पर है ।
10 दिन पहले रिलीज हुई लाल सिंह चड्डा की अब तक कि कमाई 54 करोड़ रही है । यह सुपर फ्लॉप मूवी मानी जा रही है । फिल्म के बॉयकॉट की वजह आमिर खान की पत्नी का वो बयान है जिसमें उन्होंने कहा था उन्हें भारत में रहने में डर लगता है । लाइगर को सुशांत सिंह राजपूत के नेपोटिज्म और करन जौहर से जोड़ कर बहिष्कृत किया जा रहा है ।
तो इस गैंग ने शारुख खान की पठान , ऋतिक के वेदांत सलमान खान की टाइगर 3 , करन जौहर के ब्रम्हास्त्र को भी जमीन पर गिराने की मुहीम चला दी हैं ।
बॉयकॉट का मतलब बहिष्कार
बॉलीवुड जो की हिंदी सिनेमा का गढ़ मन जाता है । आज बॉयकॉट ट्रेंड के लपेटे में फंस चुका है । बॉयकॉट का मतलब है , फ़िल्म का बहिस्कार करना है । इसके लिए कहीं सनातन धर्म को तो कहीं सुशान्त सिंह के मौत को हथियार बनाया जा रहा है ।
इस गैंग के लोग अभिनेता या अभिनेत्रियों के पुराने बयान को सोशल मीडिया के जरिए लोगों तक पहुँच कर उनसे फ़िल्म के बॉयकॉट की अपील कर रहे हैं । इनका कहना है कि बॉलीवुड हिंदू धर्म का अपमान करता आ रहा है । इस लिए हम अब इसका बहिष्कार कर रहे हैं ।
शुरू हुआ बॉयकॉट पर पलटवार
अब इस बॉयकॉट का सोशल मीडिया पर विरोध भी हो रहा है । इसके विरोध में लोगों का कहना है कि जब फंड और डोनेशन की बात आती है तो सबसे पहले बूलीवुड सामने आता है । ऐसे में इनका बॉयकॉट करना कला का बॉयकॉट है ।
ट्विटर पर # बॉयकॉटबॉलीवुड और # बॉयकॉट गैंग टीएमकेसी एजी से ट्रेंड कर रहा है ।
अभिनेताओं और निर्देशकों का इसपर कहना है कि फ़िल्म से बहुत बडी संख्या में लोग जुड़े होते हैं । बॉयकॉट करने से उन लोगों की रोजी रोटी पर असर पड़ेगा।